Category Poetry

मुझको बहलाने में तुम खुद ही बिखर मत जाना

small boat sailing in the sea

मेरे हालात सुलझाने में मुसीबत में घिर मत जाना !  मुझको बहलाने में तुम  खुद ही बिखर मत जाना !! गर्दिशों के दिन हैं मेरे  तकाजा है वक़्त का सुन लो , गुस्ताखिओं पे गैरों सा  तुम भी बिफर मत…

सख्त खामोशियों के पहरे में देखो आसमां गुनगुनाता है

alone girl under sky

सख्त खामोशिओं के पहरे में देखो आसमाँ गुनगुनाता है , ये कौन झांकता है चाँद के पीछे , कौन मुझको बुलाता है ! मुद्दतों से जिसे पुकारा , जिसकी आरजू में खाक छानी है , वो मिलने आ रहा मुझसे…