लोकतंत्र की सबसे बड़ी खामी

सवाल करना और जहाँ आवश्यक हो वहां सरकार की आलोचना करना,,नीतिओं के ऊपर जमीनी हकीकत बताना जरूरी है,,वरना सत्ता बेलगाम होती चली जाती है,, खैर इसे अंधभक्त अभी नहीं समझ सकते,उन्हें भक्ति की भंग चढ़ी है नयी नयी,मष्तिष्क नशे के…
सवाल करना और जहाँ आवश्यक हो वहां सरकार की आलोचना करना,,नीतिओं के ऊपर जमीनी हकीकत बताना जरूरी है,,वरना सत्ता बेलगाम होती चली जाती है,, खैर इसे अंधभक्त अभी नहीं समझ सकते,उन्हें भक्ति की भंग चढ़ी है नयी नयी,मष्तिष्क नशे के…